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खपरैले टूटे फूटे घरों में रहने को मजबूर हैं ग्रामीण, आखिर इन्हे कब मिलेगा प्रधानमंत्री आवास...

रिपोर्ट-जैगम हलीम 

कौशाम्बी : जनपद में विकास खंड मूरतगंज के अंतर्गत आने वाली ग्राम पंचायत उजिहनी खालसा के मजरा कयामुद्दीनपुर में आज भी लोग प्रधानमंत्री आवास योजना से वांछित है ग्राम प्रधान और सचिव की मनमानी के चलते कुछ गिने चुने करीबियों को ही सरकारी योजनाओं का लाभ मिल पाया है, ग्राम पंचायत के इस मजरे में आज भी कुछ गरीब लोग खपरैले टूटे फूटे घर में गुजर बसर कर रहे हैं कई बार आवास की मांग करने पर भी उन्हें अपात्र बताकर योजना से वंचित कर दिया गया है जिससे वह टूटे फूटे घरों में रहने और गुजर बसर करने को मजबूर हैं ।

ग्राम प्रधान और सचिन की अनदेखी से पीड़ित सूर्य नारायण, दया सिंह आदि महिला ग्रामीणों ने बताया कि उन्होंने ग्राम प्रधान से लेकर ब्लॉक तक के जिम्मेदार अधिकारियों से कई बार प्रधानमंत्री आवास योजना के लिए आवेदन कराया लेकिन उन्हें आज तक इस योजना से लाभवांवित नहीं कराया गया है उन्हें स्वच्छ भारत मिशन के तहत एक शौचालय तक भी नहीं मुहैया कराया गया, जहां एक तरफ सरकार बड़े बड़े दावे करती है कि ज्यादातर गरीबों को प्रधानमंत्री आवास मुहैया कराया जा चुका है ।

वहीं उन्ही दावों को ब्लाक मूरतगंज के जिम्मेदारों और ग्राम पंचायत के ग्राम प्रधान ने खोखला साबित करने में कोई कोर कसर नहीं छोड़ी है जिससे ग्रामीणों में जिम्मेदारों के प्रति रोष व्याप्त हो रहा है ग्रामीणों ने जिला अधिकारी का ध्यान इस ओर आकृष्ट कराकर कार्यवाही कराने की मांग किया है ।

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